चम्बल लिफ्ट सिंचाई एवं पेयजल परियोजना और कालीतीर लिफ्ट परियोजना
चम्बल लिफ्ट परियोजना-
पूर्वी
राजस्थान के धौलपुर जिले में अब सिंचाई और पेयजल के लिए पानी की कमी पूरी करने के लिए चम्बल लिफ्ट सिंचाई एवं पेयजल परियोजना से
बीहड़ और डांग ईलाके में फसलों को सिंचाई के लिए अब संजीवनी मिलेगी। वहीं
कालीतीर परियोजना से पार्वती एवं राम सागर बांधों तक पानी पहुंचाया जाएगा।
जिसके बाद इन बांधों से जिले में पहले से मौजूद नहरी तंत्र से पूरे वर्ष
सिंचाई सम्भव हो सकेगी।
- 2 सालों में धौलपुर लिफ्ट सिंचाई परियोजना के कार्य में आशातीत प्रगति हुई है।
- जिले में सिंचाई से वंचित गांवों में सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराने के उद्देश्य से धौलपुर, राजाखेड़ा एवं सैपऊ तहसील के कुल 257 गॉवों में सिंचाई हेतु जल उपलब्ध कराने के लिए यह परियोजना परिकल्पित है। जिसके तहत चम्बल नदी से 6.54 क्यूमेक्स पानी प्रत्येक वर्ष माह अक्टूबर से माह मार्च तक 60 मीटर लिफ्ट करके माइक्रो सिंचाई पद्वति द्वारा दिए जाने का प्रावधान है।
- धौलपुर लिफ्ट सिंचाई एवं पेयजल परियोजना के पुरा होने के उपरान्त जिले की धौलपुर तहसील के 65, मनियां तहसील के 84, राजाखेड़ा तहसील के 83 तथा सैपऊ तहसील के कुल 25 गांवों के लोगों के लिए 39 हजार 980 हैक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई सुविधा उपलब्ध हो सकेगी।
- इस परियोजना में पेयजल के लिए 10 प्रतिशत पानी आरक्षित रखा गया है। वर्तमान में परियोजना का कार्य प्रगति पर है तथा इस पर अब तक 272.32 करोड़ रूपये खर्च किए जा चुके है।
परियोजना के प्रारूप पर गौर करे
तों चम्बल नदी के बांये किनारे पर इनटेक बैल एवं पम्पिंग स्टेशन का कार्य,
एमएस पाइप 34.06 किलोमीटर, डीआई पाइप 190.56 किलोमीटर एवं एचडीपीई पाइप 1
हजार 396.71 किलोमीटर लम्बाई में बिछाने का कार्य, सम्पूर्ण परियोजना
क्षेत्र में कुल 108 डिग्गियों एवं पम्पिंग स्टेशनों का कार्य, रेस्ट हाऊस,
आवासीय एवं कार्यालय भवनों का निर्माण, गाँव हनुमानपुरा-जैतपुर ग्राम
पंचायत बसईकारे में 295 एमसीएफटी भराव क्षमता का एमबीआर का निर्माण कार्य,
30 मेगावाट का सोलर पॉवर प्लांट का कार्य तथा 132 केवी जीएसएस का डेडीकेट
फीडर का कार्य वर्तमान में जारी है।
कालीतीर लिफ्ट परियोजना-
इसी तरह जिले
की एक अन्य महत्वपूर्ण सिंचाई परियोजना में कालीतीर लिफ्ट परियोजना भी
शामिल है। धौलपुर जिले की सरमथुरा तहसील के निकट कालीतीर ईलाके में चम्बल
नदी से पानी लिफ्ट कर पार्वती बांध एवं राम सागर बांध को वर्षा काल में भरा
जाना प्रस्तावित है।
वर्तमान में जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग ने इन
बाँधों से तहसील बाड़ी के शहरी क्षेत्र एवं ग्रामीण क्षेत्र के 193 गाँव,
धौलपुर तहसील के 59 गाँव एवं सैपऊ तहसील के 61 गाँवों में पेयजल के लिए 1
हजार 548 एमसीएफटी पानी की मांग की गई है। इस परियोजना में चम्बल नदी से
कुल 3 हजार 553 एमसीएफटी पानी जो कि पार्वती बाँध एवं रामसागर बाँध को
पूर्ण भरने के लिए 90 प्रतिशत डिपेन्डेविलिटी पर आवश्यक है, कुल 180 मीटर
ऊचाई में लिफ्ट किया जाना है जो कि चम्बल नदी से 8.4 किलोमीटर दूरी पर
स्थित बोहरे के ताल में छोड़ा जाएगा। तत्पश्चात इस ताल से पानी रामसागर बॉध
में ग्रेविटी फ्लो से प्रवाहित होकर पहुंचेगा एवं पार्वती बाँध के लिए
बोहरे के ताल से 2 किलोमीटर दूर स्थित नाले में प्रवाहित किया जाएगा। जहॉ
से यह ग्रेविटी फ्लो द्वारा पार्वती बॉध में पहुंचेगा।
इस
परियोजना के पूर्ण होने पर जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग द्वारा मांग
को पूर्ण किया जाना सम्भव हो सकेगा। इसके लिए पार्वती एवं रामसागर बॉध के
कमाण्ड क्षेत्र को प्रवाह सिंचाई पद्वति से माइक्रों सिंचाई पर शिफ्ट किया
जाएगा। साथ ही इस परियोजना के पूर्ण होने पर पार्वती बाँध एवं रामसागर बांध
के सम्पूर्ण कमाण्ड क्षेत्र में प्रत्येक वर्ष सिंचाई सुविधा सुनिश्चित हो
सकेगी एवं धौलपुर जिले के भू-जल स्तर में बढ़ोतरी होना निश्चित है।
इस
परियोजना की कुल अनुमानित लागत 269.81 करोड़ रूपये है जिसमें से आनुपातिक
रूप से 78.95 करोड़ रूपये जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग द्वारा वहन किया
जाना प्रस्तावित है। इस परियोजना की डीपीआर तैयार करने एवं कन्सलटेन्सी
सर्विस फॉर गेटिंग फोरेस्ट वाईल्ड लाईफ एण्ड एनवायरमेन्ट क्लीरेन्स की
प्रशासनिक एवं तकनीकी स्वीकृति क्रमशः 224.20 लाख एवं 60.73 लाख कुल 284.93
लाख रूपये की जारी हो चुकी है एवं कार्यादेश जारी करने की प्रक्रिया में
हैं।
सोर्स- http://dipr.rajasthan.gov.in/content/dipr/en/news-detail.213280.html#
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